पोस्ट विवरण
सुने
पपीता
डॉ. प्रमोद मुरारी
कृषि विशेषयज्ञ
2 year
Follow

पपीता : फलों के विकृत होने का कारण एवं बचाव के तरीके

पपीता : फलों के विकृत होने का कारण एवं बचाव के तरीके

इन दिनों पपीता के फलों का आकार विकृत होने की समस्या लगातार बढ़ती जा रही है। कई बार फल छोटे रह जाते हैं या फल ढेलेदार हो जाते हैं। जिससे बाजार में पपीता के फलों का उचित मूल्य नहीं मिल पाता है। आइए पपीता के फलों के विकृत होने का कारण एवं बचाव के तरीकों पर विस्तार से जानकारी प्राप्त करें।

फलों के विकृत होने का कारण

  • पौधों में बोरान की कमी होना पपीता के फलों के विकृत होने का मुख्य कारण है।

  • बलुई मिट्टी एवं शुष्क मौसम में यह समस्या अधिक होती है।

  • बोरान की अधिक कमी होने पर पौधों के विकास में भी बाधा आती है।

  • कई बार फूल भी झड़ने लगते हैं।

फलों के विकृत होने से बचाने के तरीके

  • बोरान की कमी दूर करने के लिए पटरी एकड़ भूमि में 2 से 4 किलोग्राम बोरेक्स का प्रयोग करें।

  • प्रत्येक पौधे में 2.5 से 5 ग्राम बोरेक्स का प्रयोग करें।

यह भी पढ़ें :

हमें उम्मीद है यह जानकारी आपके लिए महत्वपूर्ण साबित होगी। यदि आपको इस पोस्ट में दी गई जानकारी पसंद आई है तो इस पोस्ट को लाइक करें एवं इसे अन्य किसानों के साथ साझा भी करें। जिससे अधिक से अधिक किसानों तक यह जानकारी पहुंच सके। इससे जुड़े अपने सवाल हमसे कमेंट के माध्यम से पूछें।

4 Likes
1 Comment
Like
Comment
Share
banner
फसल चिकित्सक से मुफ़्त सलाह पाएँ

फसल चिकित्सक से मुफ़्त सलाह पाएँ