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काली मिर्च
डॉ. प्रमोद मुरारी
कृषि विशेषयज्ञ
2 year
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काली मिर्च : जानें पौधे तैयार करने की विधि

काली मिर्च : जानें पौधे तैयार करने की विधि

काली मिर्च लताओं की तरह बढ़ने वाला एक बारहमासी पौधा है। इसकी जड़ें करीब 2 मीटर तक गहरी होती हैं। पौधों में सफेद रंग के फूल खिलते हैं। कई औषधीय गुणों से भरपूर काली मिर्च का भारतीय मसलों में प्रमुख स्थान है। सभी मौसम में इसकी मांग होने के कारण इसकी खेती मुनाफे का सौदा साबित हो सकती है। आइए इस पोस्ट के माध्यम से काली मिर्च की खेती से जुड़ी कुछ महत्वपूर्ण जानकारी प्राप्त करें।

काली मिर्च की खेती का सही समय

  • शुरूआती समय में काली मिर्च के पौधे तेज धूप सहन नहीं कर सकते हैं।

  • इसलिए सितम्बर से नवंबर महीने के बीच पौधों की रोपाई करें।

  • वर्षा ऋतु के शुरुआत के समय भी पौधों की रोपाई की जा सकती है।

काली मिर्च के पौधे तैयार करने की विधि

इसके पौधों को कई तरह से तैयार किया जा सकता है। जिनमें परंपरागत विधि, परंपरागत विधि, सर्पेंनटाइन विधि, आदि शामिल है।

  • परंपरागत विधि : इस विधि के द्वारा मिट्टी को प्लास्टिक बैग या गमले में भर कर उसमें बीज की रोपाई करते हैं। रोपाई के करीब 1 महीने बाद पौधे निकलने लगते हैं।

  • परंपरागत विधि : इस विधि से पौधे तैयार करने के लिए सबसे पहले मिट्टी में गोबर की खाद मिलाएं। इसके बाद उच्च गुणवत्ता के पौधों की कटिंग में रूटिंग हार्मोन लगाकर मिट्टी में रोपाई करें। कुछ समय पौधों की कटिंग में जड़ें निकलने लगती हैं। कटिंग में जब शाखाएं निकलने लगे तब मुख्य खेत में इसकी रोपाई कर सकते हैं।

  • सर्पेंनटाइन विधि : इस विधि के द्वारा बहुत कम खर्च में हम काली मिर्च की एक बेल से कई पौधे तैयार कर सकते हैं। इसके लिए सबसे पहले एक बड़े ग्रो बैग या गमले या क्यारी में मुख्य पौधे की रोपाई करें। कुछ दिनों में यह पौधा लताओं की तरह बढ़ने लगेगा और इसमें कुछ दूरी पर गांठें बनने लगेंगी। इन गांठों को काटे बिना ही मिट्टी में दबा दें। 2 गाठों के बीच 1 गांठ छोड़ कर दबाएं और हल्की सिंचाई करें। कुछ दिन बाद मिट्टी में दबाई गई गांठों में जड़ें एवं शाखाएं बनने लगेंगी। जड़ों एवं शाखाओं के बनने के बाद इसे काट कर मुख्य खेत में रोपाई करें।

हमें उम्मीद है यह जानकारी आपके लिए महत्वपूर्ण साबित होगी। यदि आपको इस पोस्ट में दी गई जानकारी पसंद आई है तो इस पोस्ट को लाइक करें एवं इसे अन्य किसानों के साथ साझा भी करें। जिससे अधिक से अधिक किसानों तक यह जानकारी पहुंच सके। इससे जुड़े अपने सवाल हमसे कमेंट के माध्यम से पूछें। अपने आने वाले पोस्ट में हम काली मिर्च की से जुड़ी कई अन्य जानकारियां साझा करेंगे। तब तक पशु पालन एवं कृषि संबंधी जानकारियों के लिए जुड़े रहें देहात से।

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