अब कृषि वैज्ञानिक किसानों के खेत पर जाकर मिट्टी-पानी की जांच करेगे।
चौधरी चरण सिंह कृषि विश्वविद्यालय हिसार के वैज्ञानिक खुद किसानों के पास जाकर उनके खेत की मिट्टी-पानी की जांच करेंगे। अब मिट्टी-पानी की जांच के लिए हिसार स्थित लैब के अलावा यह सुविधा नजदीकी कृषि विज्ञान केंद्र के माध्यम से भी किसानों को उपलब्ध हो पाएगी।
बिना खेत की मिट्टी-पानी जांच के किसान फसलों व अन्य बागवानी फसलों में आवश्यकतानुसार उचित खाद-पानी नहीं दे पाते, जिसके चलते उन्हें फसलों से उचित पैदावार हासिल नहीं हो पाती।
इससे न केवल किसानों द्वारा खेतों में प्रयोग किए जाने वाले रासायनिक उर्वरकों का खर्च कम होने से किसान की आर्थिक बचत होगी बल्कि पर्यावरण संरक्षण भी होगा। किसान विश्वविद्यालय द्वारा की गई सिफारिशों अनुसार ही रसायनों, कीटनाशकों व अन्य खादों का प्रयोग करें ताकि अच्छी व भरपूर पैदावार ली जा सके।